यह तस्वीर वर्ष 2016 की है, तब जम्मू कश्मीर से धारा 370 नहीं हटाई गयी थी।

जम्मू- कश्मीर की पूर्व मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती की एक तस्वीर इंटरनेट पर वायरल हो रही है। जिसमें आप उन्हें मंदिर में पूजा करते हुये देख सकते है। उसके साथ दावा किया जा रहा है कि धारा 370 के खत्म होने के बाद ऐसा परिणाम हुआ कि मुस्लिम समुदाय से आने वाली महबूबा मुफ्ती भी मंदिर में जाने लगी। बताया जा रहा है कि यह तस्वीर जम्मू- कश्मीर से धारा 370 हटाये जाने के बाद की है, याने की वर्तमान की।
वायरल हो रहे पोस्ट को आप नीचे देख सकते है।

अनुसंधान से पता चलता है कि…
सबसे पहले हमने इस तस्वीर में दी गयी जानकारी को पढ़ा। उसमें लिखा है कि श्रीनगर के गांदरबल में स्थित खीर भवानी मंदिर में चल रहे वार्षिक मेले में मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती ने कश्मीरी हिंदुओं के साथ पूजा- अर्चना की। आप इस तस्वीर को नीचे देख सकते है।

इस जानकारी को ध्यान में रखकर हमने गूगल पर किया तो पाया कि हाल ही में जम्मू और कश्मीर का कोई मुख्यमंत्री नहीं है। वर्ष 2019 के बाद मुख्यमंत्री का पद खाली है और वहाँ अभी राज्यपाल का शासन है। उससे पहले भी वर्ष 2018 में वहाँ राज्यपाल शासन था और 4 अप्रैल 2016 से 19 जून 2018 तक महबूबा मुफ्ती वहाँ की मुख्यमंत्री थीं।
इससे हम समझ गये कि यह तस्वीर अभी की नहीं बल्की वर्ष 2016 या उससे पहले की है। फिर हमने गूगल पर कीवर्ड सर्च किया।
हमें 13 जून 2016 को यह तस्वीर हिंदुस्तान टाइम्स के वेबसाइट पर प्रकाशित की हुई मिली। आप नीचे देख सकते है।

इसके साथ दी गयी जानकारी में बताया गया है कि 12 जून 2016 को श्रीनगर से थोड़ी दूर पर स्थित गांदरबल में खीर भवानी मंदिर में महबूबा मुफ्ती ने रगन्या देवी की पूजा की व दूध चढ़ाया। उस दौरान वहाँ वार्षिक मेला चल रहा था। उसमें यह भी बताया गया है कि लंबे समय में वे हिंदू मंदिर में पूजा करने वाली पहली मुस्लिम नेता थीं।
इससे हमें पता चला कि यह तस्वीर वर्ष 2016 की है।
आपको बता दें कि 5 अगस्त 2019 को जम्मू- कश्मीर से धारा 370 को हटाया गया था। तो हम कह सकते है कि वायरल तस्वीर धारा 370 हटने के पहले की है।
निष्कर्ष: तथ्यों की जाँच के पश्चात हमने पाया कि वायरल हो रही तस्वीर के साथ किया गया दावा गलत है। यह तस्वीर धारा 370 के हटाये जाने के बाद की नहीं बल्की पहले की है।

Title:महबूबा मुफ्ती की मंदिर में पूजा करने की छह साल पुरानी तस्वीर को वर्तमान का बता वायरल किया जा रहा है।
Fact Check By: Samiksha KhandelwalResult: False
