क्या यह वायनाड में राहुल गांधी के चुनाव जीतने के बाद का जश्न है ?

False Political

२५ मई २०१९ को गोपाल सैनी नामक एक फेसबुक यूजर ने एक फेसबुक ग्रुप पर एक तस्वीर पोस्ट की | तस्वीर के शीर्षक में लिखा गया है कि वायनाड में राहुल के जीतने के बाद #जश्न की तस्वीर है | फ़ोटो में तिरंगा ढूंढने वाले को उचित इनाम दिया जायेगा ! और अपने देश के कुछ कथित बुद्धिवादियों का कहना है | काँग्रेस इसलिए जीती की वायनाड के लोग ज्यादा साक्षर है |”

सोशल मीडिया पर इंडियन यूनियन मुस्लिम लीग के ध्वज को अक्सर पाकिस्तान के राष्ट्रीय ध्वज के रूप में दिखाया गया है | हाल ही में अप्रैल २०१९ तक, राहुल गांधी के नामांकनपूर्व रोडशो के समय भी इंडियन यूनियन मुस्लिम लीग के झंडे को पाकिस्तानी झंडा होने का झूठा दावा किया गया था | जिसे आप यहा पढ़ सकते है | लोकसभा चुनाव २०१९ में में राहुल गांधी की जीत की ख़ुशी में वायनाड में हरे झंडे लहराये गये और जश्न मनाया गया | साझा तस्वीर में कांग्रेस व भारत का झंडा नहीं दिखाई देता है | फैक्ट चेक किये जाने तक इस पोस्ट ने लगभग ५०० प्रतिक्रियाएं प्राप्त कर चुकी थी |

आइए देखते है कि क्या वास्तव में यह राहुल गांधी के वायनाड में जीत के जश्न की तस्वीर है?

संशोधन से पता चलता है कि..

जांच की शुरुआत हमने इस तस्वीर का स्क्रीनशॉट लेकर गूगल रिवर्स इमेज सर्च करने से की | परिणाम से हमें १७ अप्रैल २०१७ को द हिन्दू द्वारा प्रकाशित खबर मिली | खबर में इस तस्वीर का उल्लेख करते हुए लिखा गया है कि “सोमवार को मलप्पुरम जंक्शन में उपचुनाव की जीत का जश्न मनाते हुए आईयूएमएल कार्यकर्ता |”

आर्काइव लिंक

हमने इस खबर को गूगल सर्च कर ढूँढा | परिणाम से हमें टाइम्स ऑफ़ इंडिया द्वारा प्रकाशित खबर मिली | खबर में लिखा गया है कि कांग्रेस-यूनाइटेड डेमोक्रेटिक फ्रंट द्वारा प्रायोजित मुस्लिम लीग के उम्मीदवार कुन्हलिकुट्टी ने १७ अप्रैल २०१७ को १.७ लाख वोटों के साथ मलप्पुरम उपचुनाव जीता |

आर्काइव लिंक

इन तथ्यों से हमें यह पता चलता है कि यह तस्वीर दो साल पुरानी है | साथ ही यह जश्न वायनाड में नहीं, बल्कि मल्लापुरम में मनाया गया | इसके पश्चात हमने उस जगह को ढूँढने की कोशिश की जहाँ यह तस्वीर खीची गई थी | ऐसा कहा गया है कि यह तस्वीर मल्लापुरम के मनोरमा सर्किल नामक जगह की है | हमने गूगल मैप्स पर इस जगह को ढूँढा | परिणाम से हमने इस जगह को गूगल स्ट्रीट व्यू के माध्यम से देखा |

हमें शाहुलहमीद मुनेस नामक एक गूगल यूजर द्वारा मनोरमा सर्किल की तस्वीर मिली | इस तस्वीर के साथ हमने वायरल तस्वीर की तुलना करते हुए पाया कि यह तस्वीर मनोरमा सर्किल में ही खिंची गई है | नीचे आप दोनों तस्वीरों की तुलना देख सकते है |

निष्कर्ष: तथ्यों की जांच के पश्चात हमने उपरोक्त पोस्ट को गलत पाया है | यह तस्वीर वायनाड की नहीं, बल्कि मल्लापुरम की है | साथ ही यह तस्वीर दो साल पुरानी है | इस तस्वीर के साथ राहुल गांधी का चुनाव जीतने के जश्न से कोई सम्बन्ध नहीं है |

Avatar

Title:क्या यह वायनाड में राहुल गांधी के चुनाव जीतने के बाद का जश्न है ?

Fact Check By: Drabanti Ghosh 

Result: False