लुलु मॉल के मामले में हिंदुओं को गिरफ्तार ज़रूर किया गया है, परंतु नमाज़ पढ़ने के लिये नहीं। वे हनुमान चालिसा पढ़ने का प्रयास कर रहे थे।

कुछ दिनों पहले लखनऊ में लुलु मॉल का एक वीडियो सामने आया था। उसमें कुछ लोग मॉल में नमाज़ पढ़ रहे थे। जिसके बाद इसपर काफी विवाद हुआ और लखनऊ पुलिस ने कुछ लोगों को इस मामले में गिरफ्तार किया।

इस संबन्ध में लखनऊ दक्षिण के पुलिस उपायुक्त के ट्वीट की तस्वीर वायरल हो रही है। उसमें दावा किया जा रहा है कि लुलु मॉल में तीन हिंदुओं को मुस्लिम बनकर नमाज़ पढ़ने के आरोप में गिरफ्तार किया गया है।

वायरल हो रहे पोस्ट में यूज़र ने लिखा है,“लखनऊ के लुलु मॉल में नमाज़ पढ़ने का मामला। CCTV से अब उन नमाज़ पढ़ने वालों के नाम पता चले हैं। सरोज नाथ योगी, कृष्ण कुमार पाठक, गौरव गोस्वामी। यह लोग मॉल में 'मुस्लिम' बन कर नमाज़ पढ़ रहे थे। लखनऊ के लुलु मॉल में हिंदू युवकों को 'नमाज़' पढ़ने किसने भेजा? कौन है जो चाहता है कि देश में हिन्दू मुसलमान पर चर्चा हमेशा बनी रहे? जवाब हम सब जानते हैं लेकिन खुलासा होना चाहिए।“

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अनुसंधान से पता चलता है कि...

सबसे पहले हमने इस तस्वीर में दिख रहे लखनऊ दक्षिण के पुलिस उपायुक्त का ट्वीट खोजने की कोशिश की। हमें यह ट्वीट 15 जुलाई को किया गया मिला। इसमें लिखा हुआ है कि 15 जुलाई को थाना सुशांत गोल्फ सिटी में अलग- अलग धर्म के चार लोगों को मॉल में धार्मिक गतिविधियां करने के आरोप में गिरफ्तार किया गया।

उनका उद्देश्य जान-बूझकर सांप्रदायिक माहौल को बिगाड़ना था। उन चारों आरोपियों के नाम सरोज नाथ योगी, कृष्ण कुमार पाठक, गौरव गोस्वामी और अरशद अली है।

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फिर हमने इस बारें में और जानकारी के लिये गूगल पर कीवर्ड सर्च किया। 19 जुलाई को प्रकाशिक ए.बी.पी न्यूज़ की रिपोर्ट में बताया गया है कि लखनऊ पुलिस ने लुलु मॉल में बिना अनुमति के नमाज़ पढ़ने के लिये नौ में से चार लोगों को गिरफ्तार किया है। पुलिस ने बताया है कि लुलु मॉल में नमाज़ पढ़ने के लिये अज्ञात लोगों के खिलाफ मामला दर्ज किया गया था। सीसीटीवी की मदद से चार आरोपियों की पहचान कर, उन्हें गिरफ्तार कर लिया गया है। वे चारों भी मुस्लिम है और उनके नाम रेहान, लुकमान, नोमान और अतिफ खान है।

इस बारे में पुलिस आयुक्तालय लखनऊ के आधिकारिक ट्वीटर हैंडल पर 19 जुलाई को ट्वीट भी किया गया है। आप नीचे देख सकते है।

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19 जुलाई को प्रकाशित इंडिया टुडे की खबर के मुताबिक सरोज नाथ योगी, कृष्ण कुमार पाठक, गौरव गोस्वामी और अरशद अली को 15 जुलाई को सांप्रदायिक माहौल बिगाड़ने के प्रयास के लिये गिरफ्तार किया गया था। 12 जुलाई को हुई घटना के बाद 15 जुलाई को अरशद अली मॉल में नमाज़ पढ़ने की कोशिश कहा रहा था और बचे हुये तीन हिंदू पूजा करने की कोशिश कर रहे थे।

इसमें कही भी ऐसा नहीं लिखा हुआ है कि सरोज नाथ योगी, कृष्ण कुमार पाठक, गौरव गोस्वामी मुस्लिम बनकर मॉल में नमाज़ पढ़ने के लिये गिरफ्तार हुये है।

फिर हमने अपर डी.सी.पी साउथ लखनऊ राजेश कुमार श्रीवास्तवा से संपर्क किया। उन्होंने हमें बताया कि “वायरल हो रहा दावा सरासर गलत है। सरोज नाथ योगी, कृष्ण कुमार पाठक और गौरव गोस्वामी को इसलिये गिरफ्तार किया गया था क्योंकि वे लूलू मॉल में नमाज़ पढ़ने की जो घटना हुई, उसके बाद हनुमान चालिसा पढ़ने की कोशिश कर रहे थे। उससे पहले ही हमने उन्हें गिरफ्तार कर लिया। दावे में जो कहा जा रहा है कि उन्हें मुस्लिम बनकर मॉल में नमाज़ पढ़ने के लिये गिफ्तार किया गया है, ये सरासर गलत है। दूसरी ओर इन लोगों के साथ अरशद अली को नमाज़ पढ़ने की कोशिश करने के लिये गिरफ्तार किया गया था।“

आगे बढ़ते हुये हमें लखनऊ के पुलिस आयुक्तालय का एक और ट्वीट मिला जो 18 जुलाई को किया गया था। उसमें उन्होंने वायरल हो रहे दावे पर स्पष्टिकरण दिया है।

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इस मामले में अब लखनऊ पुलिस ने कूल मिलाकर सात लोगों को गिरफ्तार किया है।


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निष्कर्ष: तथ्यों की जाँच के पश्चात हमने पाया कि वायरल हो रही तस्वीर के साथ किया गया दावा आंशिक रूप से गलत है। इस मामले में तीन हिंदुओं को गिरफ्तार ज़रूर किया गया है परंतु नमाज़ पढ़ने के लिये नहीं, हनुमान चालिसा पढ़ने की कोशिश करने के लिये।

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Title:क्या लुलु मॉल में मुस्लिम बनकर आये हिंदुओं को नमाज़ पढ़ने के लिये गिरफ्तार किया गया? जानिए सच

Fact Check By: Samiksha Khandelwal

Result: Partly False