
९ मई २०१९ को फेसबुक के ‘मिशन एक जो देशभक्त जाने’ नामक पेज पर एक पोस्ट साझा किया है | पोस्ट में एक विडियो दिया गया है | विडियो पूरा देखने व सुनने के बाद यह स्पष्ट होता है कि इस विडियो में कांग्रेस के वरिष्ठ नेता तथा प्रवक्ता मणिशंकर अय्यर के सन्दर्भ में बहुत ही गंभीर बाते कही गई है | विडियो में सोशल मीडिया के द्वारा फैलाये जाने वाले एक सन्देश का हवाला देकर कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी तथा सोनिया गांधी से यह मांग की गई है कि वह इस सन्देश के बारे में जनता के सामने खुलासा करे | सोशल मीडिया का सन्देश यह कहता है कि, मणिशंकर अय्यर बालाकोट हवाई हमले के बाद से गायब है और वह इस हमले के वक्त बालाकोट में जैश-ए-महम्मद के आतंकियों के साथ थे तथा हमले में वह मारे गए | पोस्ट के विवरण में लिखा है –
यह वीडियो श्री रूपेन शाह जी का है जिन्होंने दावा किया है कि जिस दिन जिस समय भारतीय वायु सेना ने बाला कोट पर हमला किया उस समय मणिशंकर अय्यर आतंकवादियों के साथ था और वह मारा गया है यदि यह फेक न्यूज़ भी है तो भी कांग्रेस को मणिशंकर अय्यर को या राहुल गांधी को या सोनिया गांधी को सामने आकर बयान देना चाहिए सच्चाई क्या है
इस पोस्ट द्वारा यह दावा किया जा रहा है कि मणिशंकर अय्यर बालाकोट हवाई हमले में मारे गए | विडियो में कथित एंकर रूपेन शाह यह भी कहते है कि, उन्होंने पब्लिक डोमेन में मणिशंकर अय्यर को ढूंढा, लेकिन उनका कोई अता-पता नहीं मिला | तो आइये जानते है इस विडियो और दावे की सच्चाई |
ARCHIVE POST
हमें ट्वीटर पर भी इस तरह के ट्वीट मिले |
संशोधन से पता चलता है कि…
हमने सबसे पहले गूगल पर उनके नाम से सर्च किया तो हमें जो परिणाम मिले, वह आप नीचे देख सकते है |
इस सर्च से हमें पता चलता है कि, आखरी बार मणिशंकर अय्यर टीवी पर ४ अप्रैल २०१९ को दिखे थे | जब राहुल गांधी ने केरल के वायनाड से लोकसभा चुनाव लड़ने की घोषणा की, तब ABP NEWS के संवाददाता ने वायनाड में उनसे बातचीत की थी | ABP ने यह विडियो यू-ट्यूब पर अपलोड किया है | आप यह विडियो नीचे देख सकते है |
इस विडियो के विवरण में साफ़ लिखा है कि, मणिशंकर अय्यर एबीपी न्यूज़ से बात कर रहे थे, जब उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर हमला करते हुए कहा कि राहुल गांधी वायनाड से चुनाव लड़ रहे हैं जहाँ हिंदू अल्पसंख्यक हैं। ४ हजार से अधिक लोगों ने यह विडियो देखा है |
इसके अलावा हमें २७ अप्रैल २०१९ को ‘The Print’ द्वारा प्रसारित एक समाचार भी मिला, जिसमे कहा गया है कि, मणिशंकर अय्यर ने खुद इस बात का स्पष्टीकरण किया की वह जिन्दा है | उन्होंने ‘द प्रिंट’ की संवाददाता से यह भी कहा कि, उन्होंने उनके बालाकोट एयर स्ट्राइक में मारे जाने की अफवाह भी सुनी है | वह दक्षिण भारत में पार्टी के प्रचार में व्यस्त थे | वह उत्तर प्रदेश के प्रयागराज और लखनऊ में भी प्रचार करने जा रहे है | लेकिन उन्होंने यह भी स्पष्ट किया कि, पार्टी ने उनपर प्रचार कोई भी जिम्मेदारी नहीं सौंपी है |
इससे यह बात स्पष्ट होती है कि, कांग्रेस पार्टी द्वारा मणिशंकर अय्यर को प्रचार की जिम्मेदारी से दूर रखा गया है | इसका कारण जानने की कोशिश करने पर हमें पिछले साल की एक घटना मिली | २०१७ में मणिशंकर अय्यर ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को ‘नीच आदमी’ कह दिया था, जिसके बाद उनको कांग्रेस की प्राथमिक सदस्यता से निलंबित कर दिया गया |
अय्यर के इस बयान पर राहुल गांधी ने कड़ी आपत्ति जताई थी, तथा वह काफी नाराज हो गए थे | उन्होंने ट्वीट कर अय्यर से इस बयान पर माफ़ी मांगने के लिए भी कहा था |
इसके बाद उनके निलंबन की खबर हिन्दुतान टाइम्स ने दी थी, जो आप नीचे देख सकते है |
इसके बाद १८ अगस्त २०१८ को उनका निलंबन वापिस ले लिया गया |
इस संशोधन से यह बात स्पष्ट होती है कि, मणिशंकर अय्यर जिन्दा है और उनके बालाकोट हवाई हमले में मारे जाने की खबर कोरी अफवाह है | बालाकोट का हमला २६ फरवरी २०१९ को किया गया था और मणिशंकर अय्यर ने ABP से ४ अप्रैल २०१९ को बात की थी | अपने विवादित बयानों के कारण वह हमेशा पार्टी को अडचन में डाल देते है, जिस वजह से शायद उन्हें २०१९ की लोकसभा चुनाओं के प्रचार से दूर रखा गया है |
जांच का परिणाम : इस संशोधन से यह स्पष्ट होता है कि, उपरोक्त पोस्ट में साझा विडियो के साथ किया गया दावा कि, “जिस दिन जिस समय भारतीय वायु सेना ने बाला कोट पर हमला किया उस समय मणिशंकर अय्यर आतंकवादियों के साथ था और वह मारा गया है बिलकुल गलत है | अय्यर जिन्दा है लेकिन पार्टी द्वारा लोकसभा के प्रचार से दूर रखे गए है |

Title:क्या कांग्रेस प्रवक्ता मणिशंकर अय्यर बालाकोट हमले में मारे गए?
Fact Check By: Rajesh PillewarResult: False
