ये मामला हिंदू व्यक्तियों द्वारा एक ईसाई व्यक्ति को पीटने का नहीं है बल्कि 2022 गुजरात में हिन्दू समुदाय के समूह के बीच हुए झड़प का है|
सोशल मीडिया पर एक वीडियो में कई लोग एक दूसरे व्यक्ति को बेरहमी से लाठी और बेल्ट से पीटते दिख रहे हैं। इस वीडियो को सोशल मीडिया पर इस दावे के साथ साझा किया जा रहा है कि हिंदू व्यक्तियों द्वारा एक ईसाई व्यक्ति को पीटा जा रहा है।
वायरल पोस्ट के कैप्शन में लिखा गया है कि “भारत में एक हिंदू भीड़ द्वारा एक ईसाई आदमी पर क्रूर हमला, एक ऐसा देश जहां मॉब लिंचिंग बढ़ रही है।”
ट्विटर लिंक । आर्काइव लिंक । ट्विटर लिंक । आर्काइव लिंक
अनुसंधान से पता चलता है कि…
जाँच की शुरुवात हमने वायरल वीडियो को कीवर्ड सर्च के माध्यम से गूगल और यूट्यूब पर ढूँढने से की, परिणाम से हमें द इंडियन एक्सप्रेस द्वारा 22 दिसंबर 2022 को प्रकाशित खबर मिली। इस खबर के शीर्षक में लिखा गया है कि “वडोदरा में दलित युवक पर ‘हमला’ करने के आरोप में पांच हिरासत में।”
वीडियो में सात लोगों को 24 वर्षीय अल्पेश परमार (वणकर) पर चमड़े की बेल्ट और डंडों से हमला करते हुए दिखाया गया है, जब वह एक दोस्त के साथ बैठा था। पुलिस ने वीडियो में देखे गए पांच लोगों की पहचान परमपीर मदनसिंह राठौड़, प्रताप प्रकाश मकवान, तुषार भरत सोलंकी, अजय अरसिंह निनामा और महिपाल रौनक चावड़ा के रूप में की है, जो वड़ोदरा शहर के निवासी हैं। इस घटना को बीबीसी गुजरती ने भी रिपोर्ट किया था।
डेक्कन हेराल्ड के अनुसार प्राथमिकी में, घटना के समय दलित पीड़ित अल्पेश परमार सेवासी नहर रोड के पास एक स्थानीय फैशन डिजाइनर लड़की के साथ बैठा था। राजपूत और ओबीसी समुदायों के सात युवकों ने कथित तौर पर जातिसूचक गालियां देते हुए परमार की पिटाई की।
प्राथमिकी अज्ञात व्यक्तियों के खिलाफ दंगा, मारपीट और आपराधिक धमकी और अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति (अत्याचार निवारण अधिनियम) की धाराओं के तहत दर्ज किया गया था।
आगे हमने वडोदरा ग्रामीण पुलिस अधीक्षक (एसपी) रोहन आनंद से संपर्क किया जिन्होंने हमें बताया की इस घटना का कोई सांप्रदायिक एंगल नहीं था और यह मारपीट एक महिला इन्फ्लुएंसर से संबंधित किसी मुद्दे पर हुआ। ये मामला पिछले साल दिसंबर के समय का है। उन्होंने हमें ये भी बताया की आरोपी और पीड़िता हिंदू समुदाय से थे। ये मामला हिन्दू समुदाय द्वारा इसाई समुदाय के व्यक्ति पर किए हमले का नहीं है।
निष्कर्ष:
तथ्यों की जाँच के पश्चात हमने वायरल वीडियो के साथ किए गए दावे को गलत पाया है। वायरल वीडियो 2022 दिसंबर में वडोदरा में हिन्दू समुदाय के दो समूह के बीच हुए मारपीट की है। ये मामला हिन्दू समुदाय द्वारा इसाई समुदाय के व्यक्ति पर किए हमले का नहीं है।
Title:2022 में वडोदरा में दलित युवक पर हमले के वीडियो को हिंदुओं द्वारा ईसाई व्यक्ति पर हमले के रूप में किया वायरल
Fact Check By: Drabanti GhoshResult: False
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